अकूत अटूट संभावनाओं से भरी है ज़िन्दगी बस तू थोड़ा समय का सम्मान कर मन मस्तिष्क का समन्वय और कड़ी मेहनत भीड़ में हो या अकेला प्रभु का ध्यान कर
अकूत अटूट संभावनाओं से भरी है ज़िन्दगी बस तू थोड़ा समय का सम्मान कर मन मस्तिष्क का समन्वय और कड़ी मेहनत भीड़ में हो या अकेला प्रभु का ध्यान कर