लोग नहीं समझते कुछ अलग ज़रूरी है आविष्कार जितने भी हुए हैं आज तक वो ही कर पाए जिन्होंने कुछ नया सोचा और नया करने की कोशिश की साधारण कोशिश नहीं असाधारण कोशिश पहले दुनिया उन्हें पागल करार देती है फिर उनके आगे सज़दा करती है कुछ ही अपने होते हैं जो आखिर तक साथ देते है उन्हें वो दिखाई या सुनाई पड़ता है जो औरों को नहीं सही कहा जिसने कहा "जो अदृश्य को देख सके वो ही असंभव को संभव बना सके" बढ़ावा दीजिये उन्हें जो अलग सोचते हैं कुछ कर दिखाना चाहते हैं ताकि वो आपका ,समाज का देश का, दुनिया का ,भला कर सकें