मीठी वाणी रखो सदा, कभी न कड़वी बोली सेब के पेड़ पर ही सेब लगें,नीम के पेड़ निंबोली कड़वा रहे,कड़वे पे तुम चाहे, लगाओ मीठा लेप दुर्जन से आशा रखी तो ,होगी ख़ुद ही से ठिठोली
मीठी वाणी रखो सदा, कभी न कड़वी बोली सेब के पेड़ पर ही सेब लगें,नीम के पेड़ निंबोली कड़वा रहे,कड़वे पे तुम चाहे, लगाओ मीठा लेप दुर्जन से आशा रखी तो ,होगी ख़ुद ही से ठिठोली
बहुत सुन्दर |
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Very true Mam
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बहुत ही सुंदर पंक्तियाँ लिखी है
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