ए रब !हमारी दिली कशिश यूँ ही बनी रहे ये चाहत,मुस्कुराहट,उर बगिया खिली रहे तुम जब भी आओ सामने,ए मेरे हमदम! हों पुरसुकून पल, हमारी रूह महकी रहे ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️
Category: Shayari
शुरुआत
जहाँ से लोग ख़त्म करतें है वहाँ से हम शुरुआत करते हैं हम करके दिखाते हैं जिसकी अक्सर लोग बस बात करते हैं ✍️ सीमा कोशिक 'मुक्त' ✍️
फ़रिश्ते
कुछ लोग उस वक़्त आपकी ज़िन्दगी में आते है जब तुम्हें उनकी सबसे ज़्यादा ज़रूरत होती है वो आते हैं,तुम्हें चाहते हैं,सराहते हैं,ऊँचा उठाते हैं वो तुम्हें याद दिलाते हैं कि तुम तब भी सबसे बेहतर थे जब तुम ज़िन्दगी के भयानक दौर से गुजर रहे थे वो लोग सिर्फ तुम्हारे दोस्त नहीं,ज़मीन पे फ़रिश्ते हैं ए फ़रिश्ते, मेरे साथ बने रहने का शुक्रिया ! ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️ ----- हिंदी अनुवाद ( quote by Dr munish jindal )
ताज
तुम जीवित रहीं उस वक्त भी, जब तुम्हें लगा ,हालात तुम्हें मार डालेंगे तो अब क्या डर!चल अपना ताज सीधा कर और बढ़ आगे महारानी-सी ! ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️ ----- हिंदी अनुवाद ( quote by Dr munish jindal )
सगा
छोड़िये जनाब सब का सगा होना पहले अपने सगे तो हो जाइये औरों को प्यार बाँटने से पहले स्वयं को प्यार करके दिखाइए सोचो खाली झोली रहे आपकी किसको क्या बाँटोगे ये बताइये ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️
भरोसा
किसी पर भरोसा करने से पहले प्यार में दिल के उछलने से पहले अपने प्यार पर,अपने किरदार पर ए जानम, तुमको बहुत सोचना है ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️
ख्यालों में
जब प्यार के हों सुरूर में ....रहते है ख्यालों में जब रूठ जाएँ वो.... तो उदासी के ख्यालों में लब्बोलुभाव यही है यहाँ ....जो करे इश्क़ वो किसी काम का नहीं रहता !हमेशा ख्यालों में ✍️ सीमा कोशिक 'मुक्त' ✍️
नासमझ
सब अच्छा ही अच्छा है नासमझ ज़िन्दगी न समझ खुली आँखों का ख़्वाब है कभी भी टूट सकता है सब सुख-दुःख की लहरों में डूबते-उबरते रहते हमारा यकीन यकीनन कभी भी टूट सकता है ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️
रक़्स
यदि दिल पे ज़ारी रहे ग़मों का रक़्स तो उस इंसान के बदलने की वजह न पूछो फिर भी उसे बदलने का इरादा है तेरा तो भरपूर प्यार से उसे सराबोर कर दो ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️
पहचान
किसी के दिल बहलाने का..जरिया न बनो नेक बनो तुम मगर ....बहता दरिया न बनो किसी का अहसान .....रहे चाहे कितना भी हो ख़ुद के मालिक, वक़्त की पहचान बनो ✍️ सीमा कौशिक 'मुक्त' ✍️